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झारखंड में भाजपा की ओर से गोगो दीदी योजना के ऐलान और इसके लिए पार्टी कार्यकर्ताओं द्वारा फॉर्म भरवाने को लेकर प्रदेश में सियासी घमासान मचा हुआ है। झारखंड विधानसभा चुनाव की घोषणा से पहले भारत निर्वाचन आयोग सत्ता पक्ष के निशाने पर है। घमासान के केंद्र में चुनाव आयोग की ओर से लोकसभा चुनाव से पहले 2 मई 2024 को कहा था कि सभी राजनीतिक दल वैसी कोई भी गतिविधि से दूर रहें, जिसमें किसी भी विज्ञापन और सर्वेक्षण के जरिए चुनाव बाद लाभार्थी उन्मुख योजनाओं के लिए व्यक्तियों का पंजीकरण शामिल हो।
सत्तासीन पार्टी झामुमो ने चुनाव आयोग पर तीखा प्रहार किया है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने झामुमो की शिकायत को आधार बनाकर सभी डीसी को चुनाव आयोग के नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई और केस दर्ज करने का निर्देश दिया है। दूसरी ओर, भाजपा ने कहा है कि आदर्श आचार संहिता चुनाव अधिसूचना जारी होने की तिथि से प्रभाव में आती है। अधिसूचना जारी होने तक हर दल को अपना कार्यक्रम चलाने का अधिकार है। जब तक भाजपा किसी नियम या संवैधानिक प्रावधान का उल्लंघन नहीं करती, किसी प्रकार का हस्तक्षेप अवैध माना जाएगा।
उल्लेखनीय है कि भाजपा ने चुनावी घोषणा के तहत सरकार बनने पर गोगो दीदी योजना शुरू करने का वादा किया है और भाजपा कार्यकर्ता इसके लिए फॉर्म भरवा रहे हैं। योजना के तहत महिलाओं को हर माह 2100 रुपये देने की घोषणा की गई है।
चुनाव आयोग ने क्या कहा था
भारत निर्वाचन आयोग ने 2 मई 2024 को जारी एक प्रेस नोट के जरिए कहा था कि राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों द्वारा अपनी प्रस्तावित लाभार्थी योजना के लिए विभिन्न सर्वेक्षणों की आड़ में मतदाताओं का विवरण मांगने को गंभीरता से लिया गया है। इसे लोक अधिनियम, 1951 की धारा 123 (1) के तहत रिश्वतखोरी का भ्रष्ट आचरण माना गया है। आयोग ने आम चुनाव-2024 में कुछ उदाहरणों पर ध्यान देते हुए सभी दलों को एक सलाह जारी की थी कि विज्ञापन और सर्वेक्षण के जरिए चुनाव के बाद लाभार्थी उन्मुख योजनाओं के लिए व्यक्तियों का पंजीकरण बंद करें। साथ ही जिला निर्वाचन अधिकारियों को ऐसे मामले में उचित कार्रवाई का निर्देश दिया था।
नियम तोड़ने वालों पर डीसी कार्रवाई करें: हेमंत सोरेन
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने भाजपा की गोगो दीदी योजना को लेकर झामुमो की शिकायत के बाद राज्य के सभी उपायुक्तों (डीसी) को इस मामले में संज्ञान लेने का निर्देश दिया है। अपने निर्देेश में उन्होंने कहा है कि सभी डीसी यह सुनिश्चित करें कि भारत निर्वाचन आयोग के सभी नियमों का सख्ती से पालन हो। झारखंड में किसी को भी भारत निर्वाचन आयोग के नियमों को तोड़ने की आजादी नहीं है। अगर कोई ऐसा करता है तो उपायुक्त दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करें। इसके तहत सुसंगत धाराओं में मुकदमा दर्ज कर सूचना दें। इधर, रांची जिले के उपायुक्त मंजूनाथ भजंत्री ने मुख्यमंत्री सोरेन के निर्देश पर संज्ञान लेते हुए चुनाव आयोग के नियमों का सख्ती से पालन कराने के लिए त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित करने से संबंधित दिशा-निर्देश संबंधित लोगों को जारी किया है।
झामुमो बोला, भाजपा नियमों की धज्जियां उड़ा रही, आयोग सो रहा
झामुमो ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर चुनाव आयोग द्वारा दो मई 2024 को जारी प्रेस नोट टैग करते हुए लिखा है कि भाजपा भारत निर्वाचन आयोग के नियमों की धज्जियां उड़ा रही है और चुनाव आयोग सो रहा है। आखिर भाजपा को नियम तोड़ने की विशेष छूट है क्या? आयोग कहता है कि राजनीतिक दल द्वारा कोई फॉर्म नहीं भरवाया जा सकता है, पर भाजपा नेता इस आदेश की धज्जियां उड़ा रहे हैं। वहीं चुनाव आयोग शांत पड़ा हुआ है। मुख्यमंत्री से आग्रह है कि वे इस मामले पर संज्ञान लें, अन्यथा इंडिया गठबंधन भी अब ऐसे हथकंडे अपनाएगा।
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