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नॉर्वे ने जलवायु परिवर्तन के खिलाफ एक महत्वपूर्ण योजना ‘नॉर्दर्न लाइट्स’ पेश की है। इसके तहत, कार्बन डाइऑक्साइड (सीओ2) को वातावरण से खींचकर तरल रूप में समुद्र की गहराइयों में दफनाने का कार्य किया…
ओस्लो, एजेंसी। नॉर्वे ने जलवायु परिवर्तन के खिलाफ एक अहम योजना पेश की है। इसके तहत वैज्ञानिक वातावरण में मौजूद कार्बन डाइऑक्साइड (सीओ2) को खींचकर एकत्र करेंगे। फिर इसे तरल रूप देकर समुद्र की गहराइयों में दफना देंगे। नॉर्वे की सरकारी तेल कंपनियों के संघ ने इस परियोजना को पेश किया है, जिसे ‘नॉर्दर्न लाइट्स नाम दिया गया है। इस परियोजना को 2025 में शुरू कर दिया जाएगा।
रिपोर्ट के मुताबिक, इस पहल का उद्देश्य पूरे यूरोप में वातावरण और औद्योगिक स्रोतों से सीओ2 उत्सर्जन को एकत्र करना है। इसके लिए ‘कार्बन कैप्टर एंड स्टोरेज तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा। सीओ2 वायुमंडल तक पहुंचकर जलवायु परिवर्तन में योगदान देता है। ऐसे में कार्बन कैप्टर एंड स्टोरेज तकनीक पृथ्वी को ठंडा रखने में अहम योगदान दे सकती है। दरअसल, सीमेंट, स्टील और रसायन से जुड़े औद्योगिक क्षेत्र अभी वर्षों तक जीवाश्म ईंधन पर निर्भर रहेंगे। पवन और सौर ऊर्जा जैसे नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों के विस्तार में भी देरी है। इसलिए, इन औद्योगिक क्षेत्रों का सीओ2 कम करने में यह तकनीक बड़ा किरदार निभा सकती है। इसे जीवाश्म ईंधन जलाने वाले बिजली स्टेशनों में लगाया जा सकता है। यह परियोजना नॉर्वे की दीर्घकालिक जलवायु रणनीति का हिस्सा है। यह तकनीक दुनिया के कुछ सबसे अधिक प्रदूषणकारी उद्योगों से उत्सर्जन को कम करने के व्यावहारिक तरीकों में से एक है।
इस तरह काम करेगी तकनीक
कार्बन कैप्टर एंड स्टोरेज तकनीक उद्योगों की चिमनी के साथ हवा से भी सीओ2 को खींचकर तरल रूप में स्टोर कर सकती है। तरल रूप में कंटेनर में बंद सीओ2 को खत्म होते तेल-गैस के कुओं और समुद्र की गहराइयों में दबा दिया जाएगा। तरलीकृत सीओ2 दो 2.6 किलोमीटर की गहराई में दबाने की योजना बनाई गई है। इससे हवा का स्तर सुधरेगा, वातावरण में मौजूद प्रदूषक तत्वों में कमी आएगी और पृथ्वी को ठंडा रखने के वैश्विक प्रयासों को बल मिलेगा।
सवाल भी उठे
नॉर्दर्न लाइट्स के प्रबंध निदेशक टिम हेजन ने कहा, कुछ भूवैज्ञानिकों और पर्यावरणविदों ने इस परियोजना पर सवाल उठाए हैं। उनका कहना है कि इससे समुद्र में तरलीकृत सीओ2 का रिसाव हो सकता है और जलीय जीवों को नुकसान पहुंच सकता है। उन्होंने कहा, हम आश्वस्त करते हैं कि यह परियोजना पूरी तरह सुरक्षित है क्योंकि तरलीकृत सीओ2 को संग्रहित करने के लिए लीकप्रूफ कंटेनर बनाए जा रहे हैं।
क्या है सीओ2
सीओ2 एक पारदर्शी गैस और हवा का प्राकृतिक घटक है, जो वातावरण में ग्रीनहाउस गैस के रूप में कार्य करता है। यह आम तौर पर कम मात्रा में हानिरहित होता है लेकिन मात्रा बढ़ने पर गंभीर रूप से प्रभावित कर सकता है। यह नींद के पैटर्न, उत्पादकता, एकाग्रता के स्तर आदि को प्रभावित कर सकता है।
पर्यावरण के लिए जरूरी भी
सीओ2 प्रकाश संश्लेषण की प्रक्रिया में पौधों की मदद करता है। यह वह प्रक्रिया है, जिससे पौधे अपना भोजन बनाते हैं। जानवर और मनुष्य दोनों ही अपने अस्तित्व के लिए पौधों पर निर्भर हैं, इसलिए प्रकाश संश्लेषण पौधों, जानवरों और मनुष्यों के अस्तित्व के लिए महत्वपूर्ण है। सीओ2 पृथ्वी के वायुमंडल के भीतर सूरज की तीव्र किरणों को रोकने में भी मदद करता है। यह तापमान को अत्यधिक ठंडा होने से भी बचाता है।
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