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कांग्रेस ज्वाइन करने के बाद जुलाना विधानसभा से चुनाव लड़ रहीं ओलंपियन पहलवान विनेश फोगाट के राजनीति में आने पर उनकी चचेरी बहन और बीजेपी नेता बबीता फोगाट का पहली बार रिएक्शन आया है। बबीता फोगाट ने कहा है कि राजनीति में आने का विनेश का फैसला निजी है। वह निजी जिंदगी में कुछ भी कुछ भी करने के लिए स्वतंत्र है लेकिन उसे कम से कम गुरु की बात माननी चाहिए थी। विनेश के गुरु द्रोणाचार्य अवार्डी महावीर फोगाट हैं, जो बबीता के पिता और विनेश के ताऊ हैं।
बबीता फोगाट ने कहा कि गुरु हमेशा अच्छी राह दिखाता है। एक गुरु कभी भी शिष्य को भटकता नहीं देख सकता है। विनेश ने राजनीति में आने का फैसला जल्दबाजी में लिया है। अगर वह कुश्ती खेलती तो 2028 में लॉस एंजिल्स ओलंपिक में गोल्ड मेडल पक्का था।
भूपेंद्र हुड्डा ने डाली फोगाट परिवार में फूट
बबीता ने विनेश की राजनीतिक पारी का जिम्मेदार हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र हुड्डा को बताते हुए कहा कि भूपेंद्र हुड्डा फोगाट परिवार में फूट डालने में कामयाब रहे, जनता उनको सबक जरूर सिखाएगी। बबीता ने कहा कि कांग्रेस का फूट डालो राजनीति करो का एजेंडा रहा है। इन्होंने हमेशा परिवार तोड़ने का काम किया है। हरियाणा विधान सभा चुनाव में बबीता फोगाट चरखी दादरी विधानसभा सीट से भाजपा के टिकट पर दावा ठोक रहीं थी, लेकिन भाजपा ने बबीता की जगह सुनील सांगवान को उम्मीदवार बनाया है। टिकट न मिलने के सवाल पर बबीता ने कहा कि भाजपा ने बेहतर फैसला लिया है। उन्हें टिकट न मिलने का कोई मलाल नहीं है। मैं अपने भारतीय जनता पार्टी के शीर्ष नेतृत्व के निर्णय के साथ खड़ी हूं।
पिछला चुनाव हार गई थी बबीता
बता दें कि बबीता फोगाट ने 2019 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी का दामन थाम लिया था। उन्हें पार्टी ने चरखी दादरी सीट से उम्मीदवार बनाया था। हालांकि उन्हें हार का सामना करना पड़ा था। चुनावों में बबीता फोगाट तीसरे स्थान पर रही थीं। इस बार भी उन्हें टिकट मिलने की उम्मीद थी, लेकिन पार्टी ने टिकट नहीं दिया। बीजेपी ने हाल ही में सरकारी सेवा से
वीआरएस लेने वाले सुनील सांगवान को चरखी दादरी सीट से टिकट दिया है। सांगवान हरियाणा सरकार में राजस्व एवं सहकारिता मंत्री रहे सतपाल सांगवान के बेटे हैं। हाल ही में सतपाल सांगवान बीजेपी में शामिल हो गए थे।
(रिपोर्ट: मोनी देवी)
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