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नई दिल्ली, प्रमुख संवाददाता। राजधानी में सभी स्थानों पर निजी वाहनों के लिए पार्किंग दर एक जैसी होगी। वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने दिल्ली नगर निगम, नई दिल्ली नगर पालिका परिषद और दिल्ली छावनी परिषद को इसकी रूपरेखा 30 सितंबर तक तय करने के निर्देश दिए हैं। इसे नवंबर से लागू किया जा सकता है। दिल्ली में यूं तो मानसून सीजन को छोड़कर बाकी दिनों में प्रदूषण का स्तर ज्यादा रहता है। लेकिन, जाड़े के दिनों में लोगों को सबसे ज्यादा प्रदूषित हवा में सांस लेनी पड़ती है। दिल्ली के प्रदूषण में वाहनों से निकलने वाले धुएं की बड़ी भागीदारी होती है। इसलिए प्रदूषण नियंत्रण के लिए वाहनों के संचालन के लिए भी अलग-अलग प्रतिबंध लगाया जाता है। खासतौर पर ग्रैप लागू होने के साथ ही इसके अलग-अलग चरणों में वाहनों के लिए अलग-अलग पाबंदियों के प्रावधान है। जबकि, वाहनों की संख्या सीमित करने के लिए पार्किंग की दरों में बढ़ोतरी करने के भी निर्देश दिए गए हैं। इसी क्रम में वायु गुणवत्ता प्रबंधन ने दिल्ली में सभी जगहों पर निजी वाहनों के लिए पार्किंग दरों को तार्किक बनाने के निर्देश दिए हैं।
आयोग ने कहा है कि उसके द्वारा अप्रैल के महीने में जारी निर्देश में 30 अगस्त तक इस संबंध में रूपरेखा देने को कहा गया था। हालांकि, अभी तक इस तरह का प्रस्ताव प्राप्त नहीं हुआ है। आयोग ने कहा कि दिल्ली नगर निगम, एनडीएमसी और छावनी परिषद की ओर से 30 सितंबर तक इसका प्रस्ताव दे दिया जाए। ताकि, एक नवंबर से इसे पूरी दिल्ली में लागू किया जा सके।
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