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दिल्ली में बुधवार को लगातार तीसरे दिन में डॉक्टरों की हड़ताल जारी रही। मरीजों का कहना है कि हर रोज अस्पालों के चक्कर लगा रहे हैं। उपचार न होने से परेशानी बढ़ गई है। डॉक्टरों के संगठन फोरडा ने मंगलवार रात केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा से मुलाकात के बाद अपनी हड़ताल वापस लेने की घोषणा की थी। हालांकि, हड़ताल कर रहे दिल्ली के अलग-अलग अस्पतालों के डॉक्टरों ने फोरडा के फैसले का विरोध किया और अपनी हड़ताल जारी रखी।
दिल्ली में बुधवार को भी 13 बड़े सरकारी अस्पतालों के डॉक्टर हड़ताल पर रहे। इस दौरान इमरजेंसी सेवा को छोड़कर ओपीडी, वार्ड और ऑपरेशन थियेटर में डॉक्टरों ने काम बंद रखा। हालांकि, इस दौरान इमरजेंसी ऑपरेशन थिएटर चालू रहे। राजधानी में बुधवार को हड़ताल का सबसे अधिक असर एम्स दिल्ली और सफदरजंग अस्पताल में देखने को मिला।
मरीजों की हालत देख ओपीडी पहुंचे कई डॉक्टर
दिल्ली के इहबास, ईएसआईसी अस्पताल और राम मनोहर लोहिया अस्पताल के कुछ डॉक्टर कुछ मरीजों की हालत देखकर वरिष्ठ डॉक्टरों के साथ ओपीडी पहुंचे। दरअसल, अस्पतालों में सिर्फ रेजिडेंट डॉक्टर हड़ताल कर रहे हैं। फैकल्टी यानी वरिष्ठ डॉक्टर अपनी सेवाएं दे रहे हैं। मरीजों की स्थिति को देखते हुए फैकल्टी रेजिडेंट डॉक्टरों को ओपीडी में भी बुला रहे हैं, ऐसे में कुछ रेजिडेंट डॉक्टर स्वेच्छा से ओपीडी में मरीजों की जांच कर रहे हैं। फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया मेडिकल एसोसिएशन (फेमा) के संस्थापक डॉक्टर मनीष जांगड़ा ने बताया कि हम अपनी जरूरी मांगों को लेकर हड़ताल कर रहे हैं। हमारा मकसद मरीजों को परेशान करना नहीं है, लेकिन सरकार इतने दिन बाद भी मांगों पर ठोस आश्वासन नहीं दे पा रही है।
मरीजों की मुश्किलें बढ़ीं
नाक की सर्जरी नहीं हुई, बिना उपचार लौटे
दिल्ली के मयूर विहार निवासी प्रवीण की हादसे में नाक पर गंभीर चोट आई थी। सफदरजंग अस्पताल में एक बार सर्जरी हो चुकी है। डॉक्टरों ने दो सप्ताह बाद बुधवार को सर्जरी के लिए बुलाया था। प्रवीण ने बताया कि सुबह अस्पताल के ईएनटी विभाग में पहुंचने पर पता चला कि डॉक्टर हड़ताल पर हैं, ऐसे में सर्जरी नहीं हो पाएगी। उन्होंने बताया कि यह भी जानकारी नहीं दी गई है कि अगली बार इलाज के लिए कब आना है।
डॉक्टरों ने दो सप्ताह बाद आने के लिए कहा
उत्तर प्रदेश के अमरोहा के रहने वाले सुधांशु सिंह बुधवार को दिल्ली एम्स के हड्डी रोग विभाग की ओपीडी पहुंचे थे। काफी देर इंतजार करने के बाद उन्हें बताया गया कि आज उनकी सर्जरी नहीं हो सकेगी। सुधांशु ने बताया कि काफी दिन बाद एम्स में दोबारा सर्जरी की तारीख दी गई थी। इतनी दूर से आए हैं, निराश होकर जाना पड़ रहा है। डॉक्टर ने उन्हें दो सप्ताह बाद आने के लिए कहा है। समय पर उपचार न होने से परेशानी बढ़ गई है।
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