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Maulana Sheikh Ali Zaid On Yoga Day: मालदीव में नफरत फैलाने वाले मौलाना शेख अली जैद ने भारत की उत्पत्ति योग के खिलाफ जहर उगला है. दुनिया भर में योग दिवस मनाए जाने का विरोध करते हुए मौलाना ने कहा कि यदि योग में हिंदू सूरज देवता की पूजा नहीं की जाती तो यह महज एक कसरत है. इसके साथ ही मौलाना ने यह भी कहा कि हिंदुओं का योग इस्लाम के एकेश्वरवाद (Monotheism) के खिलाफ है. इसीलिए मुसलमानों को योग नहीं करना चाहिए. मगर, यहां पर उनका जहर उगलना बंद नहीं होता.
मौलाना ने तो यह तक कह डाला कि इस्लामिक देश में योग करने की परमिशन भी नहीं दी जानी चाहिए. मौलाना शेख जाैद ने माले स्थित भारतीय उच्चायोग में इंटरनेशनल योगा डे मनाने के बाद एक्स पोस्ट करते हुए मुसलमानों को सलाह दी है कि योग के चक्कर में ना पड़े इसके बजाय व्यायाम कर लें.
योग के खिलाफ बोले मौलाना शेख अली जैद
शेख जैद ने एक्स पोस्ट में लिखा योग इसलिए योग है क्योंकि इसमें आध्यात्मिकता भी शामिल है, जो कि सूर्य देवता से जुड़ी हुई है. इसलिए हमारा कहना है कि योग मत करो बल्कि व्यायाम करो. इस योग दिवस के चक्कर में ना ही पढ़ो तो अच्छा. इतना ही नहीं उन्होंने भारतीय उच्चायोग में योग दिवस मनाने को लेकर कहा कि ये एक जाल है. कुछ लोगों का इस पर कहना है कि मौलाना योग को व्यायाम इसलिए बोल रहे हैं क्योंकि इस समय ऐसी सरकार है, जिसका वह सपोर्ट करते हैं.
मौलाना जैद बोले- कोई भगवान नहीं है सिर्फ अल्लाह है
मौलाना की योग को लेकर आलोचना यहां पर खत्म नहीं हो जाती. मौलाना ने अपने पोस्ट में योग की निंदा की. सिर्फ एक एक्स पोस्ट में उनका मन नहीं भरा. अगले पोस्ट में उन्होंने लिखा कि योग के नियम में कोई चेंज नहीं हुए हैं. तब में और अब में कोई फर्क नहीं है. हिंदू योग इस्लाम के एकेश्वरवाद के खिलाफ है. इस काम से मुसलमान को बचाना चाहिए. इसके बाद एक और पोस्ट करते हुए मौलाना जैद ने लिखा कि मेरे दिल में कोई संदेह नहीं है कि हिंदू धर्म में जो योग फैलाया गया है वह अमान्य, बुरा और निषिद्ध है और इस्लामिक कंट्री में यह नहीं होना चाहिए. कोई भगवान नहीं है सिर्फ अल्लाह है.
2018 में भाषण देने का लाइसेंस किया गया था कैंसिल
वैसे तो इंटरनेशनल योगा डे 21 जून को मनाया जाता है, लेकिन मालदीव में भारतीय उच्चायोग में इसे 20 जून को ही मनाया गया. बता दें कि 2021 में इंटरनेशनल योगा डे पर गैलोलु स्टेडियम में आयोजन किया गया था, जिसमें कुछ लोगों ने घुसकर अड़चने पैदा करने की कोशिश की थी. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक प्रदर्शन करने वाले कई लोग मालदीव की वर्तमान सरकार में बड़े पदों पर बैठे हुए हैं. इनमें सत्तारूढ़ पीपल्स नेशनल कांग्रेस के एक सांसद भी है. बता दें कि मौलाना शेख जैद शुरू से ही अपने भड़काऊ भाषणों के लिए चर्चाओं का विषय बने रहते हैं. मालदीव सरकार ने 2018 में उनके भाषण देने का लाइसेंस भी कैंसिल कर दिया था.
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