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दिल्ली में भीषण गर्मी से लोग बुरी तरह बेहाल हैं। दिन हो या फिर रात आसमान से जैसे बस आग ही बरस रही है। गर्मी को देखकर ऐसा लग रहा है जैसे दिल्ली अब तंदूर बन गई है। हालांकि, मौसम विभाग ने दिल्लीवालों को अब कूल करने वाली एक गुड न्यूज दे दी है। बता दें कि, दिल्ली में मंगलवार दोपहर को बिजली की मांग भी रिकॉर्ड स्तर 8,647 मेगावाट पर पहुंच गई।
मौसम विभाग के अनुसार, अगले दो दिन आंधी और बूंदाबांदी से राहत की उम्मीद है। दिल्ली के सफदरजंग मौसम केंद्र में मंगलवार को अधिकतम तापमान 44 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से पांच डिग्री ज्यादा है। न्यूनतम तापमान 33.8 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से छह डिग्री ज्यादा है। यहां पर आर्द्रता का स्तर 51 से 24 फीसदी तक रहा। दिल्ली के आयानगर में अधिकतम तापमान 45 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया।
दिल्ली में जानलेवा हुई गर्मी! लू लगने से 2 और लोगों ने दम तोड़ा, 51°C तक महसूस हुई तपिश
मौसम विभाग का अनुमान है कि अगले दो दिनों के बीच दिल्ली के मौसम पर एक पश्चिमी विक्षोभ का असर देखने को मिलेगा। इसके चलते धूल भरी आंधी चलने के आसार हैं। हवा की गति 40 से 50 किलोमीटर प्रति घंटे तक की हो सकती है। बूंदाबांदी भी हो सकती है। इससे तापमान में दो डिग्री तक की गिरावट हो सकती है।
ऐसे होती है हीट इंडेक्स की गणना
मौसम विभाग अधिकतम तापमान, हवा की गति और हवा में मौजूद नमी के आधार पर हीट इंडेक्स की गणना करता है। इस सूचकांक के जरिये यह दर्शाने का प्रयास किया जाता है कि गर्मी किस स्तर पर महसूस की जा रही है। मौसम बुलेटिन के मुताबिक, हीट इंडेक्स 51 के स्तर पर पहुंच गया है।
गर्मी के असर से दिल्ली में रिकॉर्ड स्तर पर पहुंची बिजली की मांग
भीषण गर्मी के बीच मंगलवार दोपहर बिजली की मांग रिकॉर्ड स्तर 8,647 मेगावाट पर पहुंच गई। बीते 30 दिनों में अधिकतम बिजली मांग 7000 मेगावाट से अधिक बनी हुई है। बीएसईएस की तरफ से जानकारी दी गई है कि मंगलवार दोपहर 3:22 बजे भीषण गर्मी थी। उस वक्त गर्मी से राहत पाने के लिए कूलर, पंखे, एसी का प्रयोग सबसे अधिक किया गया। इसके चलते बिजली की मांग 8,647 मेगावाट के स्तर पर पहुंची, जो दिल्ली के इतिहास में सबसे अधिक है। हालांकि, इस दौरान बिजली की मांग को पूरा किया गया। इस साल के रिकॉर्ड को छोड़ दिया जाए तो वर्ष 2022 में 29 जून को बिजली की सबसे अधिक मांग 7,438 मेगावाट रही थी।
दिल्ली के करीब 2100 मेगावाट बिजली ग्रीन एनर्जी के स्त्रत्तेतों से मिल रही है। सोलर पावर से करीब 840, हाइड्रो से 546, विंड पावर से 500, रूफ-टॉप सोलर से 166 और वेस्ट टू एनर्जी के माध्यम से करीब 40 मेगावाट बिजली मिल रही है।
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