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नई दिल्ली25 मिनट पहले
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तस्वीर 2 जून की है। जब तिहाड़ में सरेंडर से पहले अरविंद केजरीवाल पत्नी सुनीता और अपने मंत्रियों के साथ राजघाट पहुंचे थे।
दिल्ली हाईकोर्ट ने शनिवार, 15 जून को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल को कोर्ट के वीडियो सोशल मीडिया से हटाने के आदेश दिए। कोर्ट ने सुनीता, सोशल मीडिया कंपनियां एक्स, मेटा और यूट्यूब समेत 5 को नोटिस जारी कर जवाब मांगा।
अगली सुनवाई 9 जुलाई को होगी। यह वीडियो तब का है जब शराब नीति केस में केजरीवाल को अरेस्ट किया गया था और उन्होंने कोर्ट के सामने खुद अपना पक्ष रखा था।
हाईकोर्ट ने सोशल मीडिया कंपनियों से कहा, ‘जिन लोगों ने इन वीडियो को रीपोस्ट किया है उसे भी डिलीट किया जाए।’ जस्टिस नीना बंसल कृष्णा और अमित शर्मा की बेंच ने कहा कि ये वीडियो हाईकोर्ट के वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के नियमों के खिलाफ है। याचिका वकील वैभव सिंह ने लगाई थी।
22 मार्च को ट्रायल कोर्ट ने केजरीवाल को 28 मार्च तक ED की हिरासत में भेज दिया था।
याचिका में दावा- जजों की जान को खतरे में डाला गया
याचिका में सिंह ने कहा था, ‘अरविंद केजरीवाल को शराब नीति केस में 21 मार्च को गिरफ्तार किया गया था। इसके बाद 28 मार्च को ट्रायल कोर्ट में पेश किया गया। इस दौरान उन्होंने अदालत में खुद अपना पक्ष रखा था। इसके बाद सुनीता ने कोर्ट की कार्यवाही की वीडियो रिकॉर्डिंग सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट की थी।
सिंह ने कहा, ‘यह दिल्ली हाईकोर्ट के वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग नियम, 2021 के तहत प्रतिबंधित है। वीडियो पोस्ट करके ट्रायल कोर्ट के जजों की जान खतरे में डालने की कोशिश की गई है। इसकी जांच के लिए SIT का गठन होना चाहिए और FIR दर्ज होनी चाहिए। वीडियो रीपोस्ट करने वाले लोग आम आदमी पार्टी से जुड़े थे। इन्होंने जानबूझकर अदालत को बदनाम करने की कोशिश की। इनके खिलाफ भी जुर्माना लगाया जाना चाहिए।’
शराब घोटाले में अब तक 16 लोग अरेस्ट, इनमें पूर्व CM की बेटी भी
ED और CBI के मुताबिक, दिल्ली सरकार ने लिकर पॉलिसी में बदलाव कर अपने पसंदीदा डीलर्स को लाइसेंस दिए। बदले में उनसे रिश्वत ली गई। हालांकि, आम आदमी पार्टी इन आरोपों को गलत बताती है। ED इस मामले में अब तक 16 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है।
ED ने शराब घोटाले में अब तक कुल 6 चार्जशीट दायर की हैं। साथ ही 128 करोड़ रुपए से ज्यादा की प्रॉपर्टी जब्त की है। शराब घोटाले में ही ED ने तेलंगाना के पूर्व मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव की बेटी कविता को अरेस्ट किया है। ये गिरफ्तारी हैदराबाद में उनके घर से की गई। कविता 23 मार्च तक हिरासत में हैं।
शराब नीति घोटाला के बारे में जानिए…
- दिल्ली के डिप्टी CM मनीष सिसोदिया ने 22 मार्च 2021 को नई शराब नीति का ऐलान किया। उन्होंने कहा कि इस नीति से शराब की दुकानें निजी हाथों में चली जाएंगी। सिसोदिया से जब नई नीति लाने का मकसद पूछा गया तो उन्होंने दो तर्क दिए। पहला- माफिया राज खत्म होगा। दूसरा- सरकारी खजाना बढ़ेगा।
- 17 नवंबर 2021 को नई शराब नीति 2021-22 लागू कर दी गई। इससे शराब कारोबार से सरकार से बाहर हो गई और ये बिजनेस निजी हाथों में चला गया। कई बड़े डिस्काउंट देने से शराब की जमकर बिक्री हुई। इससे सरकारी खजाना तो बढ़ा, लेकिन इस नई नीति का विरोध होने लगा।
- 8 जुलाई 2022 को दिल्ली के मुख्य सचिव नरेश कुमार ने नई शराब नीति में घोटाला होने का आरोप लगाया। उन्होंने इससे जुड़ी एक रिपोर्ट एलजी वीके सक्सेना को रिपोर्ट सौंपी। इसमें बताया गया कि सिसोदिया ने लाइसेंसधारी शराब कारोबारियों को अनुचित लाभ पहुंचाया। उधर, LG ने भी कहा है कि उनकी और कैबिनेट की मंजूरी के बिना ही शराब नीति में बदलाव कर दिए।
- एलजी सक्सेना ने मुख्य सचिव की रिपोर्ट के आधार पर CBI जांच की मांग की। 17 अगस्त 2022 को जांच एजेंसी ने केस दर्ज किया। इसमें मनीष सिसोदिया, तीन रिटायर्ड सरकारी अफसर, 9 बिजनेसमैन और दो कंपनियों को आरोपी बनाया गया। सभी पर भ्रष्टाचार से जुड़ी धाराओं के तहत केस दर्ज किया।
- 19 अगस्त को सिसोदिया के घर और दफ्तर समेत सात राज्यों के 31 ठिकानों पर छापेमारी की। इस पर सिसोदिया ने दावा किया कि सीबीआई को कुछ नहीं मिला। इधर, 22 अगस्त को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने CBI से मामले की जानकारी लेकर मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज कर लिया।
- विवाद बढ़ता देख 28 जुलाई 2022 को दिल्ली सरकार ने नई शराब नीति को रद्द कर दिया। फिर से पुरानी नीति लागू करने का फैसला लिया। 31 जुलाई को सरकार ने कैबिनेट नोट में बताया कि शराब की ज्यादा बिक्री के बाद भी सरकार की कमाई कम हुई, क्योंकि खुदरा और थोक कारोबारी शराब के धंधे से हट रहे थे।
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