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झारखंड में भीषण गर्मी का दौर जारी है। कई जिलों में पारा ने रिकॉर्ड तोड़ दिया है। इस गर्मी में चतरा भी अछूता नहीं रहा है। ऐसे में सदर प्रखंड के मोक्तमा गांव के बागी टोला के ग्रामीण इस भीषण गर्मी में भी डेढ़ किलोमीटर दूर गांव के ही दूसरे टोले से लाने को
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पानी की किल्लत
मंत्री के पैतृक गांव में है मूल समस्या
चम्पाई कैबिनेट में रहे मंत्री सत्यानंद भोक्ता का पैतृक गांव है। मंत्री सत्यानंद भोक्ता तीन बार इसी विधानसभा क्षेत्र से विधायक भी बने। जिसमें झारखंड कैबिनेट में चार बार मंत्री रहे हैं। इसके बावजूद यहां के लोगों को पानी जैसे मूलभूत सुविधाओं से जूझना पड़ रहा है।
वोट मांगते हैं मंत्री गांव की समस्या को कर रहे हैं नजर अंदाज
ग्रामीणों ने मंत्री सत्यांनाद भोक्ता पर आरोप लगाते हुए कहा कि वोट लेने के लिए तो मंत्री आगे आ जाते हैं पर योजना का लाभ देने के नाम पर पीछे हो जाते हैं। और इसी वजह से गांव में मंत्री होने के बाबजूद विकास शून्य है। ग्रामीण महिलाओं ने मंत्री को काला चश्मा और काला गाड़ी पर बैठ सिर्फ अपना विकास करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा है कि उनके परिवार तो सिर्फ काला गाड़ी में बैठकर घूमते हैं। उन्हें कैसे पता चलेगा कि ग्रामीणों की क्या समस्या है।
वोट डालने पहुंचे मंत्री का किया गया विरोध
20 मई को वोट डालने अपने पैतृक गांव के मतदान केंद्र पर पहुंचे झारखंड सरकार के उद्योग मंत्री सत्यानंद भोक्ता को अपने ही गांव के ग्रामीणों का विरोध झेलना पड़ा था। ग्रामीणों ने मंत्री को देखते ही गांव में काम नहीं होने, पानी जैसे मुलभुत समस्या को लेकर ग्रामीणों ने मंत्री को खरी-खोटी सुनाई थी। इसके बावजूद मंत्री सत्यानंद भोक्ता को अपने गांव की ओर ध्यान आकृष्ट नहीं हुआ। अब देखना दिलचस्प होगा कि बागी टोला के ग्रामीणों को पानी की समस्या से निजात मिलती है। या फिर यहां के महिलाएं इस गर्मी में भी दूर के दूसरे टोले से पानी लाने को मजबूर रहेंगे।
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