[ad_1]
जिले में इस समय भले ही भीषण गर्मी का दौर चल रहा हो और अधिकतम तापमान 46.8 डिग्री तक पहुंच गया हो। लेकिन किसानों ने खरीफ सीजन की नौ प्रमुख फसलों के लिए अपनी अग्रिम तैयारी शुरू कर दी है। इस साल पिछले साल की तुलना में धान का रकबा कम निर्धारित किया गया है
.
पिछले साल कुल 402 हजार हैक्टेयर में खरीफ फसलों की बोवनी हुई थी। जबकि इस साल 404 हजार हैक्टेयर में बोवनी होगी। जानकारी के अनुसार, सीहोर जिले में पिछले साल धान का रकबा 46 हजार हैक्टेयर हजार था जो अब 40 हजार हैक्टेयर रह जाएगा। ज्वार 3.70 हजार हैक्टेयर से बढक़र 4 हजार हेक्टेयर में बोई जाएगी।
जबकि मक्का 15 हजार से बढ़कर 20 हजार, अरहर .436 से बढ़कर .500, उड़द .70 से बढ़कर .100, मूंग .111 से बढ़कर .200, सोयाबीन 336.491 से बढ़कर 340, मूंगफली .085 से बढ़कर .100 और तिल .012 से बढ़कर .050 हो जाएगी।
पहली बारिश का इंतजार
बताया गया है कि किसानों को अभी पहली बारिश का इंतजार है। जिसके बाद बोवनी की प्रक्रिया शुरु होगी। अभी तो किसान बारिश के इंतजार कर रहे हैं। मौसम विभाग के अनुसार अभी अगले पांच दिन बारिश की कोई संभावना नहीं और मानसून भी 10 जून के पहले आता नहीं दिख रहा है।
एक जनवरी से अभी तक 72.7 एमएम बारिश ही दर्ज हुई है। इस बारे में उप संचालक कृषि के.के पांडेय ने बताया कि इस साल के लिए खरीफ फसल का लक्ष्य निर्धारित किया है। इस साल 404 हजार हेक्टेयर में बोवनी होगी।
[ad_2]
Source link