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खूंटी में अफीम की खेती व राज्य में अफीम, चरस, गांजा आदि ड्रग्स के कारोबार में लगातार वृद्धि पर स्वत: संज्ञान मामले पर हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। कोर्ट ने कहा कि झारखंड में ड्रग्स के कारोबार पर रोकथाम नहीं करने वाले पुलिस अधिकारियों के खिलाफ सख्त आदेश प
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न्यायाधीश सुजीत नारायण प्रसाद की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने आदेश पारित करते हुए कहा कि अगर राज्य में ड्रग्स की खरीद-बिक्री पर पुलिस अधिकारी लापरवाह रहेंगे, तो उन पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। किसी इलाके में ड्रग्स के कारोबार में रोकथाम नहीं हो रही है और संबंधित थाना क्षेत्र के पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई नहीं की गई, तो उस जिले के एसपी/एसएसपी के खिलाफ कोर्ट सख्त आदेश पारित कर सकता है।
मामले में सीआईडी डीजी की ओर से शपथ पत्र दाखिल कर बताया गया था कि राज्य सरकार एवं नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो के बीच बैठक हुई है। इसमें ड्रग्स के कारोबार पर रोकथाम को लेकर एसओपी बनाई गई है। हालांकि, एसओपी पर खंडपीठ ने यह कहते हुए असंतुष्टि जताई कि इसमें इस बात का उल्लेख नहीं है कि आरोपित पुलिसकर्मियों पर क्या कदम उठाएंगे। ड्रग्स के कारोबार पर रोकथाम में असफल रहने वाले पुलिसकर्मियों की जवाबदेही तय करने के बारे में भी कुछ स्पष्ट नहीं कहा गया है।
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