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जामा से लुईस मरांडी को जेएमएम ने बनाया प्रत्याशी
झारखंड मुक्ति मोर्चा ने उम्मीदवारों की पांचवी लिस्ट जारी कर दी है। इस लिस्ट में केवल एक उम्मीदवार का नाम है। पार्टी ने भाजपा छोड़ जेएमएम का हाथ थामने वाली लुईस मरांडी को अपना उम्मीदवार बनाया है। पार्टी ने उन्हें जामा सीट से अपना उम्मीदवार बनाया है। लु
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भाजपा की प्रदेश उपाध्यक्ष रही हैं लुईस बता दें कि जेएमएम का दामन थामने वाली लुईस मरांडी भाजपा की प्रदेश उपाध्यक्ष रह चुकी हैं। दरअसल लुईस मरांडी को भाजपा बरहेट से उम्मीदवार बनाना चाहती थी, लेकिन वह दुमका से चुनाव लड़ना चाहती थी। जिसके बाद भाजपा से बात नहीं बनने के बाद वह दिशोम गुरु शिबू सोरेन से मुलाकात की और उनका आशीर्वाद लिया। फिर जेएमएम का दामन थाम लिया।
बाबूलाल मरांडी को लिखा था पत्र, लगाए थे आरोप पूर्व मंत्री लुईस मरांडी ने बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी को औपचारिक पत्र लिखकर अपने इस्तीफे का जानकारी दी थी। उन्होंने अपने पत्र में बीजेपी से अपने सियासी सफर शुरू करने से लेकर 2014 विधानसभा चुनाव में मौका देने और मंत्री बनने तक का जिक्र किया। इसके लिए उन्होंने बीजेपी का आभार भी जताया था। अपने पत्र में उन्होंने पार्टी पर कई आरोप भी लगाए। उन्होंने अपने पत्र में कहा कि पार्टी में आंतरिक अनुशासन कमजोर हुआ है। पार्टी में निष्ठावान और विश्वासी कार्यकर्ताओं को दरकिनार किया जा रहा है।
जेएमएम का गढ़ माना जाता है जामा जामा (एसटी) विधानसभा झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) का गढ़ माना जाता है। इसकी बड़ी वजह भी है। यहां से जेएमएम सुप्रीमो शिबू सोरेन और उनके पुत्र दुर्गा सोरेन विधायक रह चुके हैं। पिछले तीन विधानसभा चुनाव से शिबू सोरेन की बड़ी पुत्रवधू सीता सोरेन यहां से विधायक चुनीं गईं। लोकसभा चुनाव 2024 के पहले सीता सोरेन ने जेएमएम छोड़कर भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) का दामन थाम लिया।
कौन हैं लुईस मरांडी 24 साल से राजनीति करने वाली लुइस मरांडी 2014 में तब सुर्खियों में आई थीं, जब उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को उनकी परंपरागत सीट दुमका में हराया था। पहली बार दुमका में लुइस की वजह से बीजेपी जीत हासिल कर पाई थी। रघुवर दास की सरकार में लुइस मरांडी को मंत्री बनाया गया था। बीजेपी इस बार भी उन्हें बरेहट से उतारकर 2014 जैसा खेल खेलना चाह रही थी, लेकिन हेमंत ने पहले ही चाल चल दी।
जामा से कब किसने जीता चुनाव वर्ष : उम्मीदवार : पार्टी 1967 : मुंशी हासंदा : निर्दलीय 1969 : मदन बेसरा : कांग्रेस 1972 : मदन बेसरा : कांग्रेस 1977 : मदन बेसरा : कांग्रेस 1980 : देवान सोरेन : जेएमएम 1985 : शिबू सोरेन : जेएमएम 1990 : मोहरिल मुर्मू : जेएमएम 1995 : दुर्गा सोरेन : जेएमएम 2000 : दुर्गा सोरेन : जेएमएम 2005 : सुनील सोरेन : बीजेपी 2009 : सीता सोरेन : जेएमएम 2014 : सीता सोरेन : जेएमएम 2019 : सीता सोरेन : जेएमएम
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