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47 वर्षीय एक व्यक्ति नौ अगस्त को अपने भाई और भतीजे के साथ सखालिन द्वीप की यात्रा पर निकला। उनकी नौका खराब हो गई और संचार प्रणाली भी काम नहीं की। 15 वर्षीय भतीजे और 49 वर्षीय भाई की भूख और ठंड से मौत…
47 वर्षीय एक शख्स नौ अगस्त को पूर्वी रूस के खाबरोवस्क क्राय क्षेत्र से सखालिन द्वीप के लिए अपने भाई और भतीजे के साथ एक नौका पर निकला। प्रशांत क्षेत्र में स्थित ओखोटस्क सागर में मौजूद इस द्वीप तक पहुंचने में उन्हें कुछ ही घंटे लगने थे पर उनकी नौका बीच रास्ते में ही खराब हो गई। नौका पर लगी संचार प्रणाली ने भी काम करना बंद कर दिया। वे अपने साथ न तो भोजन ले गए थे और न पानी। बचाव टीम के इंतजार में कुछ दिनों बाद उनके 15 वर्षीय भतीजे और 49 वर्षीय भाई की भूख-प्यास व ठंड से मौत हो गई। उन्होंने अपनी जान बचाने के लिए समुद्र के ठंडे पानी में गोते लगाकर मछलियां पकड़कर खाईं और खुद को गर्म रखने के लिए दोनों लाशों के साथ सोए। आखिरकार, 67 दिन बाद सोमवार को उन्हें बचा लिया गया।
बचाव अभियान था मुश्किल
रूसी अधिकारियों ने बताया, यह घटना देश के सुदूर पूर्वी क्षेत्र की है। यह घनी आबादी वाला इलाका नहीं है। इससे लगा ओखोटस्क सागर 15 लाख वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैला हुआ है। इतने बड़े इलाके में बचाव अभियान चलाना अपने आप में चुनौती है। यहां इतनी ठंड है कि शरीर जम भी सकता है और बीच समुद्र में यह स्थिति खतरनाक हो सकती है।
मछुआरों ने देखी नाव
अधिकारियों ने बताया, कामचटका प्रायद्वीप के तट से दूर उस्त-खैरूजोवो गांव के पास मछुआरों ने नाव को देखा। इसमें एक लंबी दाढ़ी वाले दुबले-पतले शख्स को देखकर वे डर गए, जो दो लाशों के साथ नाव में सवार था। इसके बाद पुलिस को इसकी सूचना दी गई और उसे बचा लिया गया। नाव उस स्थान से करीब एक हजार किलोमीटर दूर मिली, जहां उन्हें जाना था।
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