[ad_1]
शुक्रवार रात 11 बजे पुलिस बांध के बहाव क्षेत्र में लोगों को अलर्ट करते हुए।
ग्वालियर के बेहट सर्कल बहांगीखुर्द में 100 साल पुराने एक बांध के ओवरफ्लो होने से आधा दर्जन गांव पर फिर संकट आ गया है। बांध के वेस्ट बियर से पानी नहीं निकल रहा था, बल्कि ओवरफ्लो होने से ऊपर से बह रहा था। लगातार बारिश और नहर से लगातार पानी आने से यह छो
.
पुलिस ने चार गांव के लोगों को समझाइश दी है कि वह निचले इलाकों में न रहें, ऊंचे स्थानों पर चले जाएं। गांव के लोगों को पंचायत भवन या स्कूल भवन में जाकर रात को सोने की समझाइश दी गई है। पुलिस अधिकारी रात भर बांध की स्थिति पर नजर लगाए बैठे हैं। यदि रात को बारिश होती है तो हालत बिगड़ सकते हैं।
बहांगीखुर्द बांध का वह क्षेत्र जहां से बहाव क्षेत्र में पानी जा रहा।
ग्वालियर-चंबल अंचल में पिछले दो दिन से पानी ने कहर बरपाया है। 17 लोगों की मौत अब तक हो चुकी है और 600 से ज्यादा लोगों को जिला प्रशासन, पुलिस, नगर निगम के अलावा सेना, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के जाबांज जवानों ने रेस्क्यू कर बचाया है। गुरुवार रात के बाद नदियाें में पानी उतरने लगा था और बाढ़ से पीड़ितों को राहत मिल रही थी, लेकिन इसी बीच शुक्रवार रात उटीला से बिजौली के बीच फिर एक बांध संकट बन गया था। उटीला के बहांगीखुर्द गांव में एक 100 साल पुराना बांध है। इसमें एक नहर के जरिए पानी आता था, पर सालो से यह नहर सूखी थी। दो दिन से लगातार हुई बारिश और मुरार नदी के उफान पर आने के बाद इस नहर के जरिए बहांगीखुर्द के बांध में पानी भर गया। शुक्रवार रात को बांध के ओवरफ्लो होते ही पानी ऊपर से बहने लगा। जिससे आसपास के आधा दर्जन गांव में दहशत फैल गई। इसके बाद पुलिस ने तत्काल शुक्रवार रात 11 बजे आसपास के आधा दर्जन गांव में अलर्ट किया है। बिजौली, जनारपुरा, टकपुरा, मुगलपुरा गांव में खतरा बहांगीखुर्द गांव के बांध के वेस्ट बियर में पानी न निकलने से उसके रास्ते में आने वाले बिजौली, जनारपुरा, टकपुरा, मुगलपुरा गांव में दहशत है। यही कारण है कि बेहट सर्कल के एसडीओपी संतोष पटेल ने अपनी टीम के साथ देर रात तक इन गांव में अलर्ट करते हुए गांव के लोगों को निचले इलाकों में न रहने की सलाह दी है। सभी गांव वालों को रात को ऊंचे स्थान पर सोने की समझाइश दी है। पक्के मकानों व पंचायत भवन व स्कूल भवन में लोगों के लिए आश्रय भवन बनाया गया है। बांध के ऊपर मिट्टी की दीवार बनाई है बेहट सर्कल के एसडीओपी संतोष पटेल का कहना है कि बांध काफी पुराना और मजबूत है। गांव के लोगों व JCB की मदद से डेम की दीवार को और मजबूत किया गया है। गांव के लोगों को समझाइश देकर ऊंचे स्थानों पर जाने के लिए कहा गया है।
[ad_2]
Source link