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उदयपुर में युवा लेखन पर टोंक के युवा लेखक नंदू राजस्थानी ने राजस्थानी भाषा का महत्त्व बताया।
केंद्रीय साहित्य अकादमी नई दिल्ली व मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय राजस्थानी विभाग के संयुक्त तत्वावधान में उदयपुर में रविवार को दो दिवसीय राजस्थानी युवा साहित्यिक उत्सव का आयोजन किया गया। इसमें टोंक जिले के डोडा का गोठड़ा लक्ष्मीपुरा निवासी स्कूल लेक
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टोंक के लेखक नंदू राजस्थानी ने युवा लेखन पर शोधपत्र पढ़कर खूब सराहना पाई।
नंदू राजस्थानी टोंक जिले से ही नहीं, बल्कि हाड़ौती के एकमात्र लेखक थे, जिन्हें अकादमी द्वारा शोध पत्र के लिए आमंत्रित किया था। उन्होंने वहां राजस्थानी भाषा को बढ़ावा देने की आवश्यकता बताते हुए इसका महत्व भी बताया। इससे पहले नंदू राजस्थानी ने महाराणा के शौर्यता, बलिदान से भी अपनी कविता कर माध्यम से अवगत कराया।
नन्दू राजस्थानी ने बताया कि उदयपुर के बप्पारावल सभागार में आयोजित इस उत्सव में राजस्थानी भाषा परामर्श मंडल के संयोजक डॉ अर्जुन देव चारण ने युवाओं के साहित्यिक भविष्य पर बात की। वरिष्ठ साहित्यकार मधु आचार्य आशावादी व गजेसिंह राजपुरोहित ने अपना व्याख्यान प्रस्तुत किया। इस अवसर पर प्रान्त के अलग अलग क्षेत्रों से युवा लेखक शामिल हुए।
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