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दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने सारे कलां के जिन पहाड़ों में अल-कायदा का आतंकी ट्रेनिंग कैंप पकड़ा है, वो बेहद संवेदनशील है। इसके 5 से 7 किलोमीटर के दायरे में भारतीय वायु सेना का प्रतिबंधित क्षेत्र और नूंह कानल्हड़ महादेव मंदिर है, जहां साल 2023 म
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6 संदिग्धों के पास हथियार भी मिले
जानकारी अनुसार 6 संदिग्धों के पास हथियार भी मिले हैं। दिल्ली पुलिस पीआरओ आईपीएस सुमन नलवा के मुताबिक पकड़े गए 6 संदिग्ध आतंकी हथियार चलाने की ट्रेनिंग ले रहे थे। नेटवर्क झारखंड और यूपी तक फैला है। कुल 8 लोग पकड़े गए हैं। जिनसे हथियार, गोला-बारूद, आतंकीविचारधारा की किताबें इनके पास मिली हैं। रांची में 15 स्थानों और उत्तर प्रदेश केअलीगढ़ में भी छापेमारी की गई है। मॉड्यूलका सरगना रांची का डॉ. इश्तियाक बतायागया है। जो देश में खिलाफत डिक्लेरेशन केसाथ बड़ी आतंकी वारदातें प्लान कर रहा था।
3 साल पहले भी पकड़ा गया था अलकायदा का स्लीपर एजेंट
अलकायदा मॉड्यूल का लिंक जुलाई 2021 में भी सामने आया था। तब तिजारा थाने के गांव बैंगनहेड़ी के असरुदीन को जयपुर रेंज आईजी की टीम ने राष्ट्र विरोधी गतिविधियों के सोशल मीडिया पर संचालन को लेकर गिरफ्तार किया था। उसके पास से देश विरोधी सामग्री मिली थी। मोबाइल में जिहादी और राष्ट्र विरोधी मानसिकता वाले कई ग्रुप से जुड़ा मिला था। टेलीग्राम पर वह 51 लोगों का इस्लामिक मीडिया नाम का ग्रुप चला रहा था। जिनमें 9 कश्मीरी, 9 पाकिस्तानी व शेष ईरान, म्यांमार वमेवात से थे। तब जांच में खुलासा हुआ कि असरूद्दीन अलकायदा के मॉड्यूल के हिसाब से सेकेंड स्टेज तक पहुंच चुकी था।
टेलीग्राम के 50 से अधिक चैनल से जुड़ा था। अल-कायदासे जुड़े लोगों के #313 मुजाहिद, लेकर रहेंगेआजादी, शरीयत ए शहादत, मौलाना की तकरीर में एक्टिव था। वहीद पुलवामा नाम के अलगाववादी सहित अन्य के लिए वो बेहतर वर्कर का दर्जा पा चुका था और लोकल युवाओं को जोड़कर ब्रेन वॉश का जिम्मा संभाल रहा था। महाराष्ट्र-गुजरात में नेटवर्क बना रहा था। साल 2019 में भी पुलिस के राडार पर आया था। तब उसे चेतावनी देकर छोड़ दिया गया, मगर वह स्लीपर सेल के बतौर सक्रिय बना रहा।
आखिर पुलिस को पता क्यों नहीं चला?
उद्योग नगरी भिवाड़ी के समीप आतंकीगतिविधि चल रही थी। हैरानी की बात ये हैकि पकड़े गए लोग यहां हथियार चलाना सीखरहे थे। इसके बावजूद स्थानीय पुलिस कोभनक तक नहीं लगी। जो रास्ता ट्रेनिंग कैंपको जाता है, उसी के समीप पहाड़ी रास्ते सेएयर फोर्स की तारबंदी है।
आगे पहाड़ पर इंदौर किला और के पहाड़से नीचे उतरते ही हरियाणा में नूंह का नल्हडमहादेव मंदिर है। कुल 10 किमी के दायरे मेंदेश की सुरक्षा में सेंध का इतना खतरनाकमॉड्यूल बैठा रहा।
मेवात में पकड़ा जा चुका है आईएसआई एजेंट
राजस्थान और हरियाणा केमेवात इलाके में देश विरोधी गतिविधि के नेटवर्क चलते रहे हैं। दोहा गांव में दो दशक पहले आईएसआई एजेंट पकड़ा गया था। इसके बाद भरतपुर क्षेत्र के सीकरी में संदिग्ध आईएसआई एजेंट पकड़ा गया। नगीना इलाके के गुमट बिहारी गांव में भी कार्रवाई हुई। अब चौपान की इलाके के सारे कलां में 6 संदिग्ध पकड़े गए हैं। हरियाणा से सटे पहाड़ी इलाके को देशविरोधी मानसिकता के लोग ट्रेनिंग सेंटर के तौर पर उपयोग करते हैं।
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