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झज्जर में पुलिस ने साइबर क्राइम से बचाने के लिए लगातार जागरूक कर रही है। लेकिन फिर भी थोड़े से लालच में आकर पढ़े लिखे लोग भी साइबर फ्रॉड का शिकार हो रहे हैं। बहादुरगढ़ के पुलिस उपायुक्त मयंक मिश्रा ने बताया कि टास्क पूरा करने के नाम पर सबसे ज्यादा फ्
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शुरुआत में छोटी राशि को लगाने के लिए कहा जाएगा। जैसे ही आप छोटा अमाउंट उनको देते हैं। वह आपको राशि बढ़ाकर आपके खाते में पैसा डाल देते हैं। इस तरह दो-तीन बार आपके खातों में पैसों का आदान-प्रदान होगा। जिससे आप उनके जाल में फंसते चले जाओगे। फिर एक बड़ा अमाउंट डालने के लिए कहा जाएगा। जैसे ही आप बड़ा अमाउंट डालोगे, तो आगे से कहा जाएगा कि आपके पैसे तब निकलेंगे जब आप और अमाउंट डालोगे।
साइबर ठगों के प्रलोभन में ना आए
इस तरह एक बहुत बड़ी राशि आप उनको दे देते हो। तब उस यूजर आईडी व पासवर्ड को डीएक्टिवेट करके आपके सारी राशि को ले लेंगे। आपके साथ बहुत बड़ा फ्रॉड हो जाएगा। पुलिस की आमजन से अपील है कि टास्क इन्वेस्टमेंट में पैसे लगाने से बचे। प्रलोभन में ना आए। हमारी समझदारी ही हमारा बचाव है।
अज्ञात नम्बर की कॉल न करें रिसीव
साइबर ठग इंस्टाग्राम पर ग्रुप बनाकर लोगों को अपना शिकार बना रहे हैं। आमजन को इस बात का ख्याल रखना चाहिए कि अपने इंटरनेट मीडिया अकाउंट व बैंकिंग ऐप्स को सुरक्षित लॉक करके रखें। निजी जानकारी को किसी से सांझा न करें। वॉट्सऐप पर किसी भी अज्ञात नम्बर से आई किसी भी प्रकार की विडियो या ऑडियो कॉल को रिसीव ना करें। पुलिस उपायुक्त ने कहा कि उसके बाद भी अगर ठगी हो जाये तो साईबर हेल्पलाइन नम्बर 1930 पर कॉल करें। अगर समय रहते शिकायत की जाए तो मेहनत की कमाई बचाई जा सकती है।
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