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बांग्लादेश में हुई हिंसा के बाद शेख हसीना अपने पद से इस्तीफा देकर देश छोड़कर चली गई थीं, लेकिन उनके जाने के बाद से ही उनकी वापसी और उनके समर्थन में आवाजें उठने लगी. अवामी लीग और उसकी सहयोगी पार्टियों ने यह ठान लिया है कि वह शेख हसीना को बांग्लादेश वापस लाकर रहेंगे.
अवामी लीग के नेताओं ने बांग्लादेश के गोपालगंज में यह बात कही है कि वह शेख हसीना को पूरे सम्मान के साथ देश में वापस लेकर आएंगे और तब तक वे सब शांत बैठने वाले नहीं है.
बीते रोज अवामी लीग के कार्यकर्ता गोपालगंज में जमा हुए. गोपालगंज के टुंगीपारा में शेख हसीना के पिता और बांग्लादेश के संस्थापक शेख मुजीबुर रहमान का मकबरा है. यहां सभी ने कसम खाई कि वह अपनी नेता को वापस लाएंगे.
अवामी लीग के गोपालगंज के जिला अध्यक्ष महबूब अली खान ने सभी को शपथ दिलवाई. पार्टी के महासचिव जीएम साहब उद्दीन आजम का कहना था कि वह तब तक राजनीतिक आंदोलन करते रहेंगे जब तक वे शेख हसीना और उनकी बहन शेख रिहाना को बांग्लादेश वापस नहीं ले आते.
शेख हसीना के बेटे साजिब वाजेद ने कहा था कि हमारा परिवार अब राजनीति में वापसी नहीं करेगा, लेकिन उन्होंने यह भी कहा था कि हमारे नेताओं को परेशान किया जा रहा है इसलिए वह चुप नहीं बैठेंगे. इससे ये लग रहा है कि शेख हसीना की वापसी हो सकती है.
शेख हसीना के बेटे ने कहा कि अवामी लीग खत्म नहीं हुई है. वह देश की सबसे बड़ी राजनीतिक पार्टी है, जिसे मिटाना इतना आसान नहीं. साजिब वाजेद ने यह भी कहा था की शेख हसीना मरी नहीं हैं. हम बंगबंधु का परिवार है. हम कहीं नहीं गए.
Published at : 08 Aug 2024 01:52 PM (IST)
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