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वाहन चेंकिग के दौरान विवाद में रहने वाली जबलपुर पुलिस एक बार फिर राजनीतिक पार्टी के कार्यकर्ताओं से उलझी है। इस बार कोतवाली पुलिस का भाजपा और कांग्रेस के नेताओं से विवाद हुआ है, लिहाजा कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं को जैसे ही जानकारी मिली तो उन्होनें कोत
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कांग्रेस नेताओं की भीड़ में पूर्व पार्षद और भाजपा नेता कुंजी जौहरी और भाजयुमो के महामंत्री राहुल रजक कोतवाली थाना प्रभारी से भिड़ गए। भाजपा और कांग्रेस नेताओं का आरोप है कि वाहन चेकिंग के नाम पुलिस सड़क पर जाम लगा देती है, जिसके चलते लोगों को परेशान होना पड़ता है। नेताओं का आरोप है कि पुलिस से जब बोला गया कि सड़क पर जाम लगाकर चेकिंग करना ठीक नहीं है, जाम की हालत बनते है, इस पर पुलिस भड़क गई। विवाद के दौरान भाजपा नेता कुंजी जौहरी का चश्मा टूट गया जबकि भाजपा नेता राहुल रजक और कांग्रेस नेता अजय रावत से भी पुलिस की झड़प हुई।
थाने के बाहर कांग्रेस कार्यकर्ता खड़े हुए, जो कि पुलिस के खिलाफ नारेबाजी कर रहे थे।
कांग्रेस नेता अजय रावत के साथ वाहन चेकिंग के दौरान पुलिस का विवाद हो गया है, यह जानकारी लगते ही पूर्व विधायक विनय सक्सेना कोतवाली थाने पुहंचे तो देखा कि भाजपा नेता कुंजी जौहरी, युवा भाजपा नेता राहुल रजक थाने के बाहर खड़े हुए थे। उन्होंने बताया कि कोतवाली थाने के सामने का रास्ता बहुत ही सकरा है, और यहां पर वाहन चेकिंग के नाम पर पुलिस का इतना अमला लग जाता है कि ड़र के कारण वाहन चालक तेज गति से भागते है, जिसके चलते हादसे भी होते है। इसी बात को लेकर स्थानीय निवासी और नेताओं ने पुलिस की कार्रवाई का विरोध किया। कुछ ही देर में ही बीच सड़क पर नेताओ और पुलिस के बीच विवाद होना शुरू हो गया। पुलिस पर आरोप लगा कि भाजपा नेता कंजी जौहरी के साथ धक्कामुक्की करते हुए उनका चश्मा तोड़ दिया गया वही कांग्रेस नेता अजय रावत को घसीटकर थाने लाया गया। कांग्रेस नेता अजय रावत ने बताया कि रात को वह मंदिर दर्शन करने जा रहे थे, पुलिस ने थाने के बाहर वाहन चेकिंग लगा रखी थी। थाना प्रभारी ने कांग्रेस नेता को रोका और हेलमेट ना पहनने पर चालान देने को कहा, इस पर कांग्रेस नेता ने कहा कि कोतवाली का ये क्षेत्र बहुत ही सकरा है, यहां ऐसे हालात नहीं है कि बाजू वाली गली में किसी को जाना है तो वह हेलमेट पहने, इतना सुनते ही थाना प्रभारी भड़क गए और कहां कि बिना चालान कटवाए गाड़ी नहीं छोड़ी जाएगी।
कांग्रेस नेता अजय रावत की थाना प्रभारी से बहस होते देखे भाजपा नेता और पूर्व पार्षद कुंजी जौहरी, भाजुयमो के प्रदेश महामंत्री राहुल रजक मौके पर पहुंच गए और वाहन चेकिंग का विरोध करते हुए कहा कि सकरी गालियों में चेकिंग लगाने से अच्छा है कि वहां पर वाहन चेक किया जाए जहां पर एक्सीडेंट होते है, इतना सुनते ही थाना प्रभारी भड़क गए। विवाद के दौरान भाजपा नेता के चेहरे में चोट आई, साथ ही उनका चश्मा भी टूट गया। कोतवाली थाने में विवाद को सूचना पर पूर्व विधायक विनय सक्सेना भी पुहंचे गए। भाजपा नेता ने थाना प्रभारी से कहा कि वाहन चेकिंग के नाम पर अवैध वसूली की जा रही है, इतना सुनते ही कोतवाली थाना प्रभारी संजीव त्रिपाठी ने कहा कि बेबुनियाद बात ना करे इस पर पूर्व पार्षद और भाजपा नेता ने कहा कि मेरे पास इतने वीडियो है पुलिस के खिलाफ अगर दिखा दूं तो क्या करेगें, करीब 15 मिनट तक भाजपा नेता और कोतवाली थाना प्रभारी के बी
थाना परिषर में कांग्रेस कार्यकर्ता खड़े हुए थे, जिन्हें जब बाहर किया तो वो भड़क गए।
च बहस होती रही, जिसे कि पूर्व विधायक विनय सक्सेना ने शांत करवाया।
पूर्व विधायक विनय सक्सेना ने कहा कि कोतवाली क्षेत्र व्यापारियों का इलाका है। यहां पर इतनी सकरी गालिया है कि भारी भीड़ रहती है, इसके बाद भी पुलिस बीच सड़क पर खड़े होकर वाहन चेकिंग करती है। विनय सक्सेना ने कहा कि कुंजी जौहरी भाजना नेता बाद में पहले क्षेत्र के प्रतिष्ठित व्यक्ति है, एक व्यापारी है। कोतवाली पुलिस ने वाहन चेकिंग के नाम पर जिस तरह से उनके साथ अभद्रता कि है इसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। पूर्व विधायक ने कहा कि ये क्षेत्र आंतकवादी वाला नहीं है, सभ्य लोगों का क्षेत्र है, यहां पर व्यापारी वर्ग के लोग रहते है, इसलिए यहां पर पुलिस को आंतक दिखाने की जरूरत नहीं है। विनय सक्सेना ने बताया कि बुधवार को क्षेत्र के नागरिकों के साथ पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी बैठक करते हुए यह सुनिश्चत करेगें कि दोबारा ऐसी घटना ना हो।
कांग्रेस और भाजपा नेताओं के विवाद की जानकारी मिलने के बाद पूर्व मंत्री पहुंच गए कोतवाली थाने।
थाने मे चले हंगामे को लेकर सीएसपी रितेश कुमार शिव का कहना है कि वाहन चेकिंग को लेकर विवाद बना था। कांग्रेस और भाजपा पार्टी के नेताओ के साथ पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया और पूर्व विधायक विनय सक्सेना थाने आए थे। उनके द्रारा मौखिक रूप से शिकायत की गई है, जांच करवाई जा रही है। वाहन चेकिंग के दौरान विवाद क्यों हुआ यह भी पता किया जा रहा है। अगर कोई पुलिसकर्मी इसमें दोषी पाया जाता है तो निश्चित रूप से उसके खिलाफ कार्रवाई भी होगी।
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