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जीएसटी की एसआईबी टीम
– फोटो : अमर उजाला
विस्तार
बरेली के नगरिया कला में स्थित रब जरी आर्ट रेडीमेड गारमेंट फर्म पर शनिवार को राज्यकर की एसआईबी टीम ग्राहक बनकर पहुंची। विक्रेता ने साड़ी की खरीद के बाद टीम को कच्चा बिल थमा दिया। अधिकारियों ने इसे कर चोरी मानते हुए मौके पर ही छापा मारकर जांच की तो बड़े पैमाने पर बोगस फर्मों से खरीद की पुष्टि हुई। टीम को प्रथमदृष्टया 50 लाख रुपये के माल की फर्जी फर्मों से खरीद मिली है। टीम ने 43 लाख रुपये कीमत के कपड़े सीज करके छह लाख रुपये टैक्स के रूप में जमा कराए हैं। साथ ही कई दस्तावेज जांच के लिये जब्त किये हैं।
बिल देने से किया इनकार
संयुक्त आयुक्त अवधेश सिंह के दिशा-निर्देश पर शनिवार को छापा की यह कार्रवाई एसआईबी उपायुक्त अनिरुद्ध सिंह, सहायक आयुक्त वेद प्रकाश शुक्ला, विकास मिश्रा ने की। टीम के सदस्य प्रतिष्ठान पर ग्राहक बनकर पहुंचे। उन्होंने जरी वर्क की एक साड़ी खरीदी। इसका पक्का बिल मांगा तो मौजूद कर्मियों ने बिल देने से इनकार कर दिया।
43 लाख के कपड़े सीज
अधिकारियों ने पूछा कि घर ले जाने के बाद साड़ी पसंद न आने पर वापस कैसे करेंगे तो कारोबारी मोहम्मद इकराम ने एक पर्ची पर एक पीस साड़ी, कीमत लिखकर नीचे हस्ताक्षर कर दिए। ये पर्ची मिलते ही टीम सक्रिय हो गई। टीम ने परिचय देकर छानबीन शुरू कर दी। प्रतिष्ठान में पक्के बिल से खरीदे गए माल से इतर मौजूद करीब 43 लाख रुपये कीमत के कपड़े सीज कर दिए। मौके पर छह लाख रुपये जमा कराए गए। साथ ही खरीद और बिक्री के कई दस्तावेज टीम साथ ले गई।
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