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इंदौर में दैनिक भास्कर के अभिव्यक्ति गरबा महोत्सव के चौथे दिन हजारों पार्टिसिपेंट्स इसके साक्षी बने। बच्चे, युवा, बुजुर्गों… सभी में महोत्सव का क्रेज दिखा।
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जनरल सर्कल दर्शकों से खचाखच भरा था। परिसर में जिसे जहां जगह मिली, वहां थिरक उठा। दीपक और मशाल लेकर पार्टिसिपेंट्स ने मां की आराधना की। चौथे दिन भी पार्टिसिपेंट्स शानदार गेटअप में पहुंचे।
ऐसे ही एक पार्टिसिपेंट्स अनीश वाधवानी नृसिंह अवतार के स्वरूप में पहुंचे। उन्होंने कहा कि यह एक प्रकार से मां दुर्गा का वाहन ही है। साल में अभिव्यक्ति गरबा के पांच दिन काफी ऊर्जा भर देते हैं। एक माह की प्रैक्टिस में भी खूब आनंद आता है।
अनीश वाधवानी नृसिंह अवतार के स्वरूप में पहुंचे।
मां वैष्णो देवी के दर्शन
17 वर्षीय लकी सोलंकी मां वैष्णो देवी मंदिर की प्रतिकृति सिर पर रखकर गरबा करने पहुंचे। इसका वजन 15 किलो है। उन्होंने पूरे समय भारी प्रतिकृति लिए गरबा किया। वे पिछले साल अभिव्यक्ति गरबा उत्सव में विनर थे। इस बार भी काफी उत्साहित नजर आए।
लकी सोलंकी कुछ इस गेटअप में पहुंचे।
नारी सम्मान की अपील
रोज अलग-अलग गेटअप में आने वाले प्रिंस सिसोदिया सोमवार को अर्द्धनारीश्वर के वेश में गरबा करने पहुंचे। उन्होंने सिर पर नारी शक्ति की रक्षा से जुड़ा एक बड़ा मॉडल थाम रखा था। लोगों से अपील की कि नारी का सम्मान कीजिए। रेप केस पर नियंत्रण होना चाहिए। अपनी बात कहते-कहते उनकी आंखें डबडबा गईं।
प्रिंस सिसोदिया ने नारी सम्मान का संदेश दिया।
15 किलो वजनी डमरू
इंदौर के पुष्पक जैन लोहे का मॉडल सिर पर लिए थे। इसमें कई छोटे-बड़े डमरू थे, जिसका वजन 15 किलो का था। उनका कहना है कि यह शिवजी शंखनाद है। ‘शिवजी का वास, डमरू के साथ’ है। वे सात साल से अभिव्यक्ति गरबा में भाग ले रहे हैं। शिवजी का भक्त हूं और लोगों के लिए यह मेरा संदेश मोटिवेशनल है।
पुष्पक जैन 7 साल से अभिव्यक्ति गरबा में भाग ले रहे हैं।
महाकाल की प्रतिकृति के साथ गरबा
इंद्रिक्षा सिलावट ने भोलेनाथ की जय-जयकार के साथ गरबा शुरू किया। उन्होंने सिर पर भगवान महाकाल की बड़ी प्रतिकृति पकड़ रखी थी, जबकि वे खुद सती के रूप में थीं। उनका कहना है- सती माता को शिवजी ले गए थे, मैं अब शिवजी को लेकर आई हूं। पहली बार अभिव्यक्ति गरबा में भाग लिया और काफी आनंद आया।
महाकाल की प्रतिकृति लेकर पहुंची इंद्रिक्षा सिलावट।
मां कालिका के रूप में पहुंचीं
सृष्टि ऊंटवाल मां कालिका के भेष में गरबा करने आईं। उन्हें मां कालिका के रूप का मेकअप करने के लिए 5 घंटे का समय लगा। उनका कहना है कि मां कालिका अपने रौद्र रूप के कारण जानी जाती हैं। मां असुरों का नाश करती हैं, यही संदेश लोगों को दिया है। वे छह साल से अभिव्यक्ति गरबा से जुड़ी है।
मां कालिका के रूप में पहुंचीं पार्टिसिपेंट सृष्टि ऊंटवाल।
मुंबई से अभिव्यक्ति में आए गरबा करने क्षितिज उर्फ चिंटू पवार घोड़े (प्रतिकृति) के साथ खूबसूरत राजस्थानी ड्रेस में पत्नी हिमांशी के साथ गरबा करने मुंबई से आए। सिर पर बड़ा सुंदर मुकुट, बड़ी मूंछे और एक हाथ में रंग-बिरंगी छतरी थी। वे मूलत: इंदौर के हैं और 10 साल से मुंबई में बस गए हैं। वे पेशे से एक्टर हैं। करीब 300 नेशनल-इंटरनेशनल प्रोजेक्ट किए हैं। उन्होंने बताया कि सालों से अभिव्यक्ति गरबा में आने के लिए लालायित था। आज यह हसरत पूरी हो गई।
मुंबई से आए क्षितिज पंवार उर्फ चिंटू। स्वच्छता का संदेश भी दिया।
सेल्फी, फोटो-वीडियो और रील का क्रेज
महोत्सव में सेल्फी, फोटो-वीडियो और रील बनाने का क्रेज दिखा। गरबा ड्रेस में आई युवतियां-महिलाएं सेल्फी और फोटो लेती नजर आईं। अलग-अलग गेटअप में आए पार्टिसिपेंट्स के साथ ही फोटो लेने की होड़ लगी रही। कोई ग्रुप में सेल्फी लेते तो कोई नाचते झूमते हुए वीडियो और रील बनाते नजर आया।
गरबा पंडाल में सेल्फी लेतीं, वीडियो बनातीं निहारिका शर्मा।
दर्शकों ने छोटे-छोटे ग्रुपों में किया डांस
महोत्सव में आए दर्शक भी छोटे-छोटे ग्रुप बनाकर गरबा रास करते दिखे। युवाओं की टोलियां अपने ही अंदाज में गरबा रास का आनंद ले रही थी। कोई अपने बच्चों को कंधे पर उठाकर नाच रहा था, तो कोई अपने दोस्तों को। जनरल सर्कल भी दर्शकों से खचाखच भरा रहा। यहां डीजे राउंड ने तो दर्शकों के उत्साह को अलग ही लेवल पर पहुंचा दिया। जनरल सर्कल के अलावा सर्कल के बाहर परिसर में भी दर्शक पूरे समय थिरकते रहे।
तस्वीरों में देखिए, गरबे के रंग….
जनरल सर्कल दर्शकों से खचाखच भरा रहा।
पुलिस के गेटअप में आए पार्टिसिपेंट।
हजारों दर्शक अभिव्यक्ति गरबा महोत्सव का आनंद लेने पहुंचे।
भक्तिमय गानों पर लोग थिरक उठे।
गरबा महोत्सव में मंच से प्रस्तुति देते कलाकार।
पार्टिसिपेंट्स के साथ फोटो खिंचवाते निगम कमिश्नर शिवम वर्मा।
पार्टिसिपेंट्स के साथ सेल्फी लेते हुए।
पार्टिसिपेंट्स सेल्फी लेते हुए।
पार्टिसिपेंट्स का सर्कल में फोटो सेशन।
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