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‘राइजिंग राजस्थान’ ग्लोबल इन्वेस्टमेंट समिट 2024 के तहत सोमवार को देश की राजधानी नई दिल्ली में ‘इन्वेस्टर मीट’ का आयोजन मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा के नेतृत्व में हुआ। इस ‘इन्वेस्टर मीट’ के दौरान राजस्थान में निवेश के लिए राज्य सरकार के ब्यूरो ऑफ इन्वे
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दिल्ली में आयोजित इस ‘इन्वेस्टर मीट’ में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा, उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़, मुख्य सचिव सुधांश पंत, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त मुख्य सचिव शिखर अग्रवाल, उद्योग विभाग के प्रमुख शासन सचिव अजिताभ शर्मा और राजस्थान सरकार के कई अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल थे।
दिल्ली में आयोजित इस ‘इन्वेस्टर मीट’ में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा, उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़, मुख्य सचिव सुधांश पंत।
कई बड़ी कंपनियों से एमओयू इस ‘इन्वेस्टर मीट’ में उद्योग एवं व्यापार जगत की कई जानी-मानी हस्तियां शामिल हुए और इस दौरान अक्षय ऊर्जा, पावर ट्रांसमिशन, तेल और गैस, सीएनजी, लॉजिस्टिक्स, एग्रोटेक जैसे कई क्षेत्रों में निवेश के लिए एमओयू (MoUs) किया गया। प्रदेश में निवेश के लिए जिन प्रमुख कंपनियों और औद्योगिक समूहों ने सरकार के साथ एमओयू (MoUs) किया, उनमें टाटा पावर, इंडियन ऑयल, अवाडा ग्रुप, एनएचपीसी, रिलायंस बायो एनर्जी, टोरेंट पावर, स्टरलाइट पावर ट्रांसमिशन, महिंद्रा सस्टेन प्राइवेट लिमिटेड, टीएचडीसी इंडिया, ऑयल इंडिया, जिंदल रिन्यूएबल पावर, एस्सार रिन्यूएबल्स, इंद्रप्रस्थ गैस, अडानी लॉजिस्टिक्स, जेके सीमेंट, बीएल एग्रो इंडस्ट्रीज, टीटागढ़ रेल सिस्टम्स जैसी कई बड़ी कंपनियां शामिल हैं।
इस दौरान, देशी-विदेशी निवेशकों, उद्योग और व्यापार जगत के दिग्गजों, इनोवेटर्स, स्टार्टअप्स और अन्य संबंधित स्टेकहोल्डर्स को राज्य में निवेश करने और 9-10-11 दिसंबर को जयपुर में आयोजित ‘राइजिंग राजस्थान’ ग्लोबल इन्वेस्टमेंट समिट 2024 में भाग लेने के लिए भी आमंत्रित किया गया।
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने राज्य में उद्योग-धंधे लगाने के लिए निवेशकों और कारोबारियों को आमंत्रित किया।
राज्य में उद्योग-धंधे लगाने के लिए निवेशकों और कारोबारियों को किया आमंत्रित निवेशकों को राजस्थान में निवेश करने के लिए आमंत्रित करते हुए मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा- राजस्थान एक परिवर्तनकारी युग की दहलीज पर खड़ा है और विकास और समृद्धि के लिए हमने एक नए दृष्टिकोण को अपनाया है। हम न केवल एक मजबूत अर्थव्यवस्था की नींव रख रहे हैं, बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक स्थायी भविष्य का निर्माण भी कर रहे हैं। इस परिवर्तन के प्रति हमारी प्रतिबद्धता निवेश को आकर्षित करने, स्थानीय उत्पादन को बढ़ावा देने और हमारे लोगों को सशक्त बनाने के लिए डिज़ाइन की गई पहलों से परिलक्षित होती है। हमारी सरकार अगले पांच वर्षों में राजस्थान की अर्थव्यवस्था को 180 बिलियन अमेरिकी डॉलर से दोगुना करते हुए 350 बिलियन अमेरिकी डॉलर का बनाने के लिए कृतसंकल्प है।
निवेशकों के अनुकूल सरकारी प्रयास मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि औद्योगिक भूमि के अधिग्रहण और विकास को सरल बनाया गया है और निजी औद्योगिक पार्क योजना और लैंड एग्रीगेशन एंड मॉनेटाइजेशन पॉलिसी जैसी पहल शुरू की जा रही हैं, ताकि कारोबारियों को अपने व्यापार का विस्तार करने के लिए अनुकूल वातावरण प्रदान किया जा सके। प्रदेश में निवेशकों के अनुकूल वातावरण बनाने के बारे में बात करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार का ध्यान व्यवसायों को सुविधाजनक बनाने का है और इसके लिए सरकार अपनी नीतियों में बदलाव ला रही है, प्रक्रियाओं को सुव्यवस्थित बनाने में लगी है, अनुपालन का बोझ कम करने में लगी है और सरकारी कामकाज में पारदर्शिता को बढ़ावा देने में लगी है। मुख्यमंत्री श्री शर्मा ने कहा, ‘राज्य सरकार का ध्यान केवल निवेश संबंधी एमओयू (MoUs) करने पर नहीं है, बल्कि उन्हें धरातल पर लाकर परियोजनाओं में बदलना है।’
राज्यवर्धन राठौड़ बोले- राजस्थान असीम संभावनाओं की धरती है, जहां मजबूत इंफ्रास्ट्रक्चर है और जहां एक ऐसी सरकार है जो आपके साथ साझेदारी करने के लिए तत्पर है।
राज्यवर्धन बोले- राजस्थान असीम संभावनाओं की धरती उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ ने कहा- हम एक ऐसे भविष्य की कल्पना करते हैं, जहां राजस्थान न केवल आर्थिक रूप से समृद्ध हो, बल्कि समावेशी और सतत विकास के लिए एक मानक भी स्थापित करे। मैं सभी निवेशकों से राजस्थान आने का आह्वान करता हूं। साथ मिलकर हम इस विजन को हकीकत में बदल सकते हैं। हमारे राज्य में निवेश करके, आप हमारे प्रचुर संसाधनों और स्ट्रेटैजिक लोकेशन का उपयोग करके आप मजबूत सप्लाई चेन और सहयोगी उपक्रम बना सकते हैं, जिससे निवेशकों और राज्य दोनों को लाभ होगा। राजस्थान असीम संभावनाओं की धरती है, जहां मजबूत इंफ्रास्ट्रक्चर है और जहां एक ऐसी सरकार है जो आपके साथ साझेदारी करने के लिए तत्पर है।
मुख्य सचिव बोले- राज्य में निवेश करने का यह उपयुक्त समय मुख्य सचिव सुधांश पंत ने कहा- यह इन्वेस्टमेंट समिट अगले 5 वर्षों में राज्य को 350 बिलियन अमेरिकी डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने की शुरुआत है। राज्य में निवेश करने का यह उपयुक्त समय है, क्योंकि सरकार समन्वित और सरलीकृत नीतियों, रेगुलेटरी कम्प्लायंस में आसानी जैसे कदमों के जरिए आपसी साझेदारी बढ़ाना चाहती है और निवेशकों को संसाधनों, इंफ्रास्ट्रक्चर और निवेश का वांक्षित लाभ उठाने की सुविधा प्रदान कर रही है।
इस अवसर पर उद्योग विभाग के प्रमुख शासन सचिव अजिताभ शर्मा ने एक प्रेजेंटेशन देते हुए कहा कि राजस्थान दिल्ली से काफी नजदीक है और इस स्ट्रैटेजिक लोकशन का फायदा राज्य में निवेश करके निवेशक उठा सकते हैं, क्योंकि राजस्थान के अंदर विभिन्न क्षेत्रों में निवेश की अपार संभावनाएं हैं।
कार्यक्रम में उद्योग जगत के दिग्गजों ने हिस्सा लिया।
उद्योग जगत के दिग्गजों ने लिया हिस्सा दिल्ली के इस इन्वेस्टर मीट में उद्योग जगत के कई दिग्गजों ने भी हिस्सा लिया। इनमें डीसीएम श्रीराम लिमिटेड के अध्यक्ष और सीनियर मैनेजिंग डायरेक्टर अजय एस. श्रीराम, टाटा पावर के सीईओ और मैनेजिंग डायरेक्टर डॉ. प्रवीर सिन्हा, अवाडा ग्रुप के चेयरमैन विनीत मित्तल, जेसीबी इंडिया लिमिटेड के सीईओ और मैनेजिंग डायरेक्टर दीपक शेट्टी, एयू स्मॉल फाइनेंस बैंक के मैनेजिंग डायरेक्टर और सीईओ संजय अग्रवाल, कॉन्फेडरेशन ऑफ इंडियन इंडस्ट्री के डायरेक्टर जनरल चंद्रजीत बनर्जी और जेके सीमेंट लिमिटेड के डेप्युटी मैनेजिंग डायरेक्टर और सीईओ माधव सिंघानिया शामिल थे।
01 अक्टूबर को एम्बैसैडर्स राउंडटेबल एवं केंद्रीय सरकारी उपक्रमों (सीपीएसईज) के साथ कॉन्क्लेव इसके अलावा, 01 अक्टूबर को, मुख्यमंत्री के नेतृत्ववाला राजस्थान सरकार के अधिकारियों का प्रतिनिधिमंडल अमेरिका, ब्रिटेन, जर्मनी, जापान, इटली, दक्षिण कोरिया, ऑस्ट्रेलिया, संयुक्त अरब अमीरात, डेनमार्क, इंडोनेशिया, मलेशिया, सिंगापुर, तुर्की, स्पेन, स्विट्जरलैंड, ब्राज़ील, कतर, दक्षिण अफ्रीका जैसे प्रमुख देशों के राजदूतों/राजनयिकों के साथ एक राउंडटेबल की मेजबानी करेगा। इस राउंडटेबल में यह प्रतिनिधिमंडल राज्य सरकार द्वारा किए जा रहे महत्वपूर्ण नीतिगत बदलावों और निवेशकों को विभिन्न क्षेत्रों दिए जा रहे में फिस्कल/नॉन-फिस्कल इन्सेंटिव्स वगैरह की जानकारी देगा और मौजूद राजनयिकों से उनके देशों के कंपनियों को प्रदेश में निवेश के लिए आमंत्रित करने हेतु सहयोग मांगा जाएगा।
इससे पहले, उसी दिन (01 अक्टूबर को) सुबह मुख्यमंत्री के नेतृत्व वाला यह प्रतिनिधिमंडल केंद्रीय सार्वजनिक उपक्रमों के कॉन्क्लेव में भी शामिल होगा और केंद्र सरकार के स्वामित्व वाले सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों (सेंट्रल पब्लिक सेक्टर एंटरप्राइजेज) के चेयरमैन/सीईओ और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बातचीत करेगा एवं उन्हें राज्य में नई परियोजनाओं पर काम करने या सहयोग के नए अवसरों तलाशने के लिए आमंत्रित करेगा।
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